नई दिल्ली। लखीमपुर खीरी हिंसा केस में केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा टेनी के बेटे और मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा को सुप्रीम कोर्ट ने दीपावली के लिए विशेष राहत दी है। कोर्ट ने उनकी जमानत की शर्तों में कुछ समय के लिए ढील देते हुए उन्हें लखीमपुर खीरी जाने की मंजूरी दे दी है।
सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि यह छूट सिर्फ दीपावली के दौरान लागू होगी। आशीष मिश्रा को पहले से तय जमानत की सभी शर्तों का सख्ती से पालन करना होगा, जिसमें यह शामिल है कि वे किसी भी तरह की राजनीतिक गतिविधियों में हिस्सा नहीं लेंगे। कोर्ट ने निर्देश दिया कि आशीष मिश्रा को 22 अक्टूबर तक वापस लौटना होगा और इसकी सूचना सुप्रीम कोर्ट को देनी होगी।
इस मामले की गंभीरता को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट लगातार जांच और सुनवाई पर नजर रख रहा है। यह छूट केवल दीपावली के पर्व को ध्यान में रखकर दी गई है, ताकि आशीष अपने परिवार के साथ समय बिता सकें।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह फैसला सिर्फ धार्मिक अवसर के लिए है और इससे मामले की कानूनी प्रक्रिया पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। स्थानीय पुलिस और प्रशासन ने भी सभी कानूनी और सुरक्षा उपायों का पालन करने की बात कही है।
3 अक्टूबर 2021 को हिंसा
लखीमपुर खीरी में 3 अक्टूबर 2021 को हुई हिंसा में चार किसानों और एक पत्रकार की मौत हो गई थी। यह घटना तब हुई जब कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसानों पर कथित तौर पर वाहन चढ़ा दिया गया और गोलीबारी हुई।
आशीष मिश्रा पर आरोप है कि उन्होंने थार गाड़ी चलाकर किसानों को कुचला और फायरिंग की। इस मामले में दो मुकदमे दर्ज हुए थे। पहला मुकदमा आशीष मिश्रा और 13 अन्य लोगों के खिलाफ था, जिसमें उन पर गाड़ी से कुचलने और गोली चलाने का आरोप था। दूसरा मुकदमा भाजपा कार्यकर्ता सुमित जायसवाल ने किसानों के खिलाफ दर्ज कराया था।