नई दिल्ली। संसद के शीतकालीन सत्र (Parliament Winter Session) का बुधवार को तीसरा दिन रहा और पहली बार लोकसभा में सुबह 11 बजे से प्रश्नकाल बिना किसी हंगामे के शुरू हुआ। मंगलवार को स्पीकर ओम बिरला की सर्वदलीय बैठक में सहमति बनी थी कि 8 नवंबर को ‘वंदे मातरम्’ के 150 साल और 9 नवंबर को चुनाव सुधारों पर विशेष चर्चा होगी। इसी समझौते के बाद सदन में शांति रही और कामकाज सुचारु रूप से चला।
पश्चिम बंगाल पर PM की सख्त हिदायत
सुबह संसद पहुंचते ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिम बंगाल के सभी भाजपा सांसदों से मुलाकात की। उन्होंने सांसदों को 2026 के विधानसभा चुनाव की तैयारी अभी से शुरू करने को कहा। PM ने निर्देश दिए कि खगेन मुर्मू जैसे सांसदों पर हमले और राज्य में हो रही हिंसा को जनता तक प्रभावी ढंग से पहुंचाया जाए। साथ ही जमीनी स्तर पर लोगों को संगठित करने और मजबूत राजनीतिक रणनीति बनाने पर जोर दिया।
विपक्ष का दोहरा प्रदर्शन
दूसरी ओर कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी, पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे सहित कई विपक्षी सांसदों ने नए श्रम कानूनों के खिलाफ मकर द्वार पर प्रदर्शन किया। कुछ सांसद दिल्ली के जहरीले प्रदूषण के विरोध में गैस मास्क पहनकर सदन पहुंचे। वहीं कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने भाजपा पर तंज कसते हुए कहा,’वंदे मातरम् तो हमारी रगों में है, भाजपा को इस पर बोलने का नैतिक अधिकार नहीं।’
पंजाब के किसानों के लिए 50 हजार करोड़ के पैकेज की मांग
लोकसभा में शून्यकाल के दौरान आम आदमी पार्टी के सांसद मलविंदर सिंह कांग ने पंजाब के बाढ़ प्रभावित किसानों के लिए केंद्र से 50,000 करोड़ रुपये के विशेष पैकेज की मांग की। उन्होंने बताया कि अगस्त-सितंबर की भारी बारिश से राज्य के 6 जिलों के 2,500 गांवों की फसलें बर्बाद हो गईं।

