नई दिल्ली। एयर इंडिया ने 12 जून, 2025 को अपनी फ्लाइट AI-171 की दुखद दुर्घटना के मामले में सभी सुरक्षा मानकों को पूरा करने का दावा किया है। साथ ही अतिरिक्त सुरक्षा उपायों के तहत मध्य जुलाई तक अपनी वाइडबॉडी उड़ानों में 15 फीसदी तक कटौती करने की बात कही है।
महाराजा क्लब के अपने सदस्यों को लिखे गए एक पत्र में एयर इंडिया के सीईओ कैंपबेल विल्सन ने कहा है कि हम भारी मन से आपकी सहायता कर रहे हैं। 241 यात्रियों और चालक दल के सदस्यों के साथ-साथ जमीन पर मौजूद 34 लोगों की मौत ने हम सभी को गहरे दुख में डाल दिया है।
लेंस के पास मौजूद इस पत्र में कहा गया है, ‘इस विनाशकारी घटना से प्रभावित परिवारों और प्रियजनों के लिए हम जो दर्द महसूस करते हैं, उसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। हम प्रभावित परिवारों की सहायता करने के लिए हर संभव प्रयास करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं और इस त्रासदी के कारणों को समझने के लिए अधिकारियों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। हमारी संवेदनाएं इस नुकसान से प्रभावित सभी लोगों के साथ हैं।’
एयर इंडिया ने फ्लाइट AI171 के बारे में कुछ महत्वपूर्ण तथ्य साझा किए हैं। उड़ान का नेतृत्व कैप्टन सुमीत सभरवाल ने किया, जो एक बेहद अनुभवी पायलट और प्रशिक्षक हैं और उन्हें वाइडबॉडी विमान उड़ाने का 10,000 से ज़्यादा घंटे का अनुभव है। फ़र्स्ट ऑफ़िसर क्लाइव कुंदर को 3,400 से ज़्यादा घंटों का उड़ान अनुभव था।
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दुर्घटनाग्रस्त विमान का हुआ था उचित रखरखाव
एयर इंडिया का कहना है कि जो विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ उसका रखरखाव अच्छी तरह से किया गया था, इसकी आखिरी बड़ी जाँच जून 2023 में और अगली जाँच दिसंबर 2025 में होनी थी। इसके दाहिने इंजन की मार्च 2025 में मरम्मत की गई थी और बाएं इंजन की जाँच अप्रैल 2025 में की गई थी। विमान और इंजन दोनों की नियमित रूप से निगरानी की गई थी, जिससे उड़ान से पहले कोई समस्या नहीं दिखी।
डीजीसीए ने सभी विमानों को दिया ग्रीन सिग्नल
एयर इंडिया का कहना है कि हम पूरे विमानन उद्योग के साथ, और अधिक समझने के लिए आधिकारिक जाँच रिपोर्ट का इंतज़ार कर रहे हैं। इस त्रासदी से उत्पन्न, और 14 जून, 2025 को नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) के निर्देशानुसार, हम अपने 33 बोइंग 787 विमानों पर गहन सुरक्षा निरीक्षण कर रहे हैं। अब तक 26 विमानों का निरीक्षण पूरा हो चुका है और इन्हें सेवा के लिए मंजूरी दे दी गई है। शेष विमान वर्तमान में नियोजित रखरखाव में हैं और सेवा में जारी किए जाने से पहले इन अतिरिक्त जांचों को पूरा किया जाएगा। समीक्षा के बाद, DGCA ने पुष्टि की है कि हमारे बोइंग 787 बेड़े और रखरखाव प्रक्रियाएँ पूरी तरह से सुरक्षा मानकों को पूरा करती हैं।
उड़ानों के रद्द होने पर जताया दुख
एयर इंडिया ने कहा है मुझे दुर्भाग्य से, इन बढ़ी हुई सुरक्षा जाँचों को करने में लगने वाला समय, अतिरिक्त सावधानी बरतने के साथ-साथ ईरान और मध्य पूर्व में हवाई क्षेत्र बंद होने जैसे बाहरी कारक और कुछ अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डों पर रात के समय प्रतिबंध, साथ ही सामान्य एयरलाइन तकनीकी समस्याओं के कारण पिछले कुछ दिनों में हमारे लंबी दूरी के नेटवर्क पर सामान्य से अधिक संख्या में रद्दीकरण हुए हैं। हम जानते हैं कि ये व्यवधान निराशाजनक रहे हैं, और हमें असुविधा के लिए वास्तव में खेद है।
बोइंग विमानों की जारी रहेगी जांच
एयर इंडिया के सीईओ कैंपबेल ने अपने पत्र में कहा है कि विश्वास-निर्माण उपाय के रूप में, हमने अपने बोइंग 787 बेड़े और एक अतिरिक्त उपाय के रूप में, हमारे बोइंग 777 विमानों पर, फिलहाल, बढ़ी हुई उड़ान-पूर्व सुरक्षा जाँच जारी रखने का निर्णय लिया है। इन अतिरिक्त जाँचों में लगने वाले समय और शेड्यूल पर संभावित प्रभाव को देखते हुए, हमने 20 जून, 2025 से शुरू होकर कम से कम जुलाई के मध्य तक अपनी अंतरराष्ट्रीय वाइडबॉडी उड़ानों को लगभग 15 फीसदी तक कम करने का निर्णय लिया है। इससे हमें किसी भी अप्रत्याशित समस्या से निपटने के लिए अधिक बैकअप विमान तैयार रखने में भी मदद मिलेगी।