[
The Lens
  • होम
  • लेंस रिपोर्ट
  • देश
  • दुनिया
  • छत्तीसगढ़
  • बिहार
  • आंदोलन की खबर
  • सरोकार
  • लेंस संपादकीय
    • Hindi
    • English
  • वीडियो
  • More
    • खेल
    • अन्‍य राज्‍य
    • धर्म
    • अर्थ
    • Podcast
Latest News
5 महीने से फरार कुख्यात सूदखोर रूबी तोमर ग्वालियर से गिरफ्तार
नोटबंदी के 9 साल बाद सवाल वही, कितना मिटा काला धन?
कांग्रेस ने डिप्टी CM अरुण साव पर भतीजे की तेरहवीं में PWD के 97 लाख रुपए भुगतान का लगाया आरोप, विभाग ने बताया भ्रामक
सीसीटीवी पर टेप चिपका देते हैं अमित शाह, कांग्रेस का सनसनीखेज आरोप
रैपिडो बाइक चालक पर महिला से छेड़खानी का आरोप, पुलिस थाने पहुंची महिला
राष्ट्रीय मुक्तिबोध नाट्य समारोह 12 नवंबर से, साथ में चित्रकार अवधेश बाजपेयी की कृतियों की प्रदर्शनी भी
NIA ने सुकमा-दंतेवाड़ा में 12 ठिकानों पर छापेमारी
1 से 19 दिसंबर तक संसद का शीतकालीन सत्र
बिहार में पहले चरण में रिकार्ड तोड़ मतदान का अंक गणित क्या कहता है?
पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह का आरोप – कांग्रेस जिला अध्यक्ष बनाने के लिए मांगे जा रहे पैसे
Font ResizerAa
The LensThe Lens
  • लेंस रिपोर्ट
  • देश
  • दुनिया
  • छत्तीसगढ़
  • बिहार
  • आंदोलन की खबर
  • सरोकार
  • लेंस संपादकीय
  • वीडियो
Search
  • होम
  • लेंस रिपोर्ट
  • देश
  • दुनिया
  • छत्तीसगढ़
  • बिहार
  • आंदोलन की खबर
  • सरोकार
  • लेंस संपादकीय
    • Hindi
    • English
  • वीडियो
  • More
    • खेल
    • अन्‍य राज्‍य
    • धर्म
    • अर्थ
    • Podcast
Follow US
© 2025 Rushvi Media LLP. All Rights Reserved.
टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स

क्या एआई खत्म कर देगा नौकरियां? मिडिल क्लास के लिए क्या है चुनौती?

पूनम ऋतु सेन
पूनम ऋतु सेन
Byपूनम ऋतु सेन
पूनम ऋतु सेन युवा पत्रकार हैं, इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग में बीटेक करने के बाद लिखने,पढ़ने और समाज के अनछुए पहलुओं के बारे में जानने की...
Follow:
Published: June 10, 2025 1:10 PM
Last updated: June 10, 2025 1:11 PM
Share
Zoho founder Sridhar Vembu
Zoho founder Sridhar Vembu
SHARE
The Lens को अपना न्यूज सोर्स बनाएं

द लेंस डेस्क | जोहो कॉर्पोरेशन के संस्थापक और सीईओ श्रीधर वेम्बु ( Zoho founder Sridhar Vembu ) ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और ऑटोमेशन के भविष्य पर अपनी राय सोशल मीडिया पर पोस्ट की है । उन्होंने कहा कि एआई और रोबोट से बड़े पैमाने पर नौकरियां खत्म होने का डर गलत है लेकिन अगर सरकारें सही नीतियां नहीं बनातीं तो यह मध्यम वर्ग के लिए आर्थिक मुश्किलें खड़ी कर सकता है। एक सोशल मीडिया पोस्ट में वेम्बु ने बताया कि अगर भविष्य में सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट जैसे काम पूरी तरह से ऑटोमेटेड हो गए, तो भी इंसानों के लिए काम की कमी नहीं होगी। लेकिन असली सवाल यह है कि लोग उन सस्ते सामानों को कैसे खरीदेंगे, जो रोबोट और एआई बनाएंगे।

खबर में खास
नौकरियां नहीं, आर्थिक असमानता है असली खतराइंसानी कामों की बढ़ेगी कीमतयह तकनीकी नहीं, आर्थिक समस्या

नौकरियां नहीं, आर्थिक असमानता है असली खतरा

वेम्बु ने कहा कि एआई और रोबोट से सामान और सेवाओं की कीमतें बहुत कम हो सकती हैं, शायद लगभग मुफ्त जैसी। उदाहरण के लिए, जिस तरह हम सांस लेने के लिए हवा का इस्तेमाल मुफ्त में करते हैं, उसी तरह भविष्य में कई चीजें सस्ती हो सकती हैं। लेकिन अगर लोगों के पास आय का कोई जरिया नहीं होगा, तो वे इन सस्ती चीजों को भी नहीं खरीद पाएंगे। यही आर्थिक असमानता का सबसे बड़ा खतरा है।

इंसानी कामों की बढ़ेगी कीमत

वेम्बु का मानना है कि कुछ ऐसे काम हैं, जो एआई और रोबोट कभी नहीं कर सकते। जैसे- बच्चों की देखभाल, घर का खाना बनाना, बीमारों की सेवा, खेती, पर्यावरण की देखभाल और स्थानीय संगीतकारों का प्रदर्शन। ये काम भविष्य में ज्यादा मूल्यवान हो सकते हैं और इनके लिए अच्छी कमाई भी हो सकती है। इससे लोगों की आय बढ़ेगी और वे सस्ते सामानों को खरीद सकेंगे।

टेक कंपनियों का एकाधिकार खतरा

वेम्बु ने चेतावनी दी कि अगर टेक कंपनियों का एकाधिकार (मोनोपॉली) नहीं रोका गया तो ऑटोमेशन के फायदे सिर्फ कुछ बड़ी कंपनियों तक सीमित रह जाएंगे। इससे आम लोगों को सस्ते सामान का लाभ नहीं मिलेगा और उनकी आय और भी कम हो सकती है। उन्होंने सरकारों से अपील की कि वे टेक कंपनियों पर सख्त नियम लागू करें ताकि ऑटोमेशन का फायदा सभी को मिले।

यह तकनीकी नहीं, आर्थिक समस्या

वेम्बु ने साफ किया कि एआई और रोबोट से होने वाली चुनौती तकनीकी नहीं बल्कि आर्थिक और नीतिगत है। अगर सरकारें सही नीतियां बनाएं, तो यह सुनिश्चित हो सकता है कि ऑटोमेशन से होने वाला लाभ समाज के हर वर्ग तक पहुंचे। उन्होंने उम्मीद जताई कि दुनिया में कम से कम एक देश ऐसा जरूर होगा, जो इस आर्थिक बदलाव को सही तरीके से संभालेगा।

अभी दूर है ऐसा भविष्य, क्या करें?

वेम्बु ने यह भी जोर देकर कहा कि सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट या अन्य नौकरियों का पूरी तरह ऑटोमेशन अभी बहुत दूर है। लेकिन हमें अभी से इसके लिए तैयार रहना चाहिए। उन्होंने सलाह दी कि लोगों को नए कौशल सीखने और बदलाव के लिए तैयार रहने की जरूरत है।

नए कौशल सीखें: एआई के युग में उन कामों पर ध्यान दें, जो इंसान ही कर सकते हैं, जैसे देखभाल, रचनात्मकता और पर्यावरण संरक्षण।
आर्थिक नीतियों पर ध्यान दें: सरकारों को ऐसी नीतियां बनानी चाहिए, जो ऑटोमेशन के फायदे को सभी तक पहुंचाएं।
एकाधिकार पर रोक: टेक कंपनियों के एकाधिकार को रोकने के लिए सख्त नियम जरूरी हैं।

श्रीधर वेम्बु का बयान तकनीकी दुनिया और भविष्य की अर्थव्यवस्था को समझने वालों के लिए महत्वपूर्ण है। वे मानते हैं कि सही नीतियों और नियमन से एआई का युग आर्थिक संकट नहीं बल्कि समृद्धि ला सकता है।

TAGGED:AI ROBOTARTIFICIAL INTELLIGENCESOCIAL MEDIASRIDHAR VEMBUZOHO CEOZOHO FOUNDER
Byपूनम ऋतु सेन
Follow:
पूनम ऋतु सेन युवा पत्रकार हैं, इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग में बीटेक करने के बाद लिखने,पढ़ने और समाज के अनछुए पहलुओं के बारे में जानने की उत्सुकता पत्रकारिता की ओर खींच लाई। विगत 5 वर्षों से वीमेन, एजुकेशन, पॉलिटिकल, लाइफस्टाइल से जुड़े मुद्दों पर लगातार खबर कर रहीं हैं और सेन्ट्रल इण्डिया के कई प्रतिष्ठित मीडिया संस्थानों में अलग-अलग पदों पर काम किया है। द लेंस में बतौर जर्नलिस्ट कुछ नया सीखने के उद्देश्य से फरवरी 2025 से सच की तलाश का सफर शुरू किया है।
Previous Article Greta Thunberg “वह अजीब और गुस्सैल इंसान”, ग्रेटा थनबर्ग के अपहरण दावे पर ट्रंप ने ऐसा क्यों कहा
Next Article assistant teachers छत्तीसगढ़ में बर्खास्त सहायक शिक्षकों का समायोजन, 17 से 26 जून तक होगी ओपन काउंसिलिंग
Lens poster

Popular Posts

छत्तीसगढ़ के उभरते युवा, उर्मी साहू और शशांक सिंह ने किया नाम रौशन

रायपुर: छत्तीसगढ़ के दो युवाओं URMI SAHU और SHASHANK SINGH ने अपनी प्रतिभा का डंका…

By पूनम ऋतु सेन

बिहार में बाहरी राज्यों की महिलाओं का आरक्षण खत्म

नई दिल्ली/पटना। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को कैबिनेट की बैठक में महिला…

By आवेश तिवारी

An assault on the constitution from Chhattisgarh

The leader of the opposition in Lok Sabha Mr Rahul Gandhi has raised the issue…

By Editorial Board

You Might Also Like

Axiom-4
टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स

भारतीय अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला 10 जून को जाएंगे स्पेस स्टेशन, फाइनल रिहर्सल पूरी

By पूनम ऋतु सेन
टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स

यूरोप में BYD का धमाल, टेस्ला को पछाड़कर रचा नया इतिहास

By Lens News
टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स

क्या टेक वर्कर्स के नौकरियों पर पड़ी AI की मार? किस कंपनी ने किया ले-ऑफ, यहां देखें लिस्ट

By पूनम ऋतु सेन
दुनिया

एआई की मदद से पकड़ में आया बाघ, कर चुका था 25 शिकार, 90 दिनों तक थी दहशत

By The Lens Desk

© 2025 Rushvi Media LLP. 

Facebook X-twitter Youtube Instagram
  • The Lens.in के बारे में
  • The Lens.in से संपर्क करें
  • Support Us
Lens White Logo
Welcome Back!

Sign in to your account

Username or Email Address
Password

Lost your password?