लेंस डेस्क। कर्नाटक सरकार ने फैसला किया है कि राज्य के सभी आगामी पंचायत और शहरी स्थानीय निकाय चुनाव अब इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) के बजाय बैलेट पेपर के जरिए होंगे। Karnataka Ballot Election
यह जानकारी राज्य के कानून और संसदीय कार्य मंत्री एचके पाटिल ने गुरुवार को दी। उन्होंने बताया कि ईवीएम पर लोगों का विश्वास घट रहा है, जिसके चलते यह निर्णय लिया गया।
यह कदम ऐसे समय में उठाया गया है, जब कांग्रेस नेता राहुल गांधी बार-बार वोट चोरी के आरोप लगा रहे हैं।पाटिल ने आगे कहा कि राज्य निर्वाचन आयोग मतदाता सूचियों को तैयार करने और स्थानीय निकाय चुनावों के लिए नियमों में संशोधन करने में जुटा है।
इसके लिए मंत्रिमंडल ने जरूरी कानून बनाने और नियमों में बदलाव करने का फैसला किया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि सभी भविष्य के चुनाव मतपत्रों के माध्यम से कराने की सिफारिश की गई है।
निर्वाचन आयोग की प्रतिक्रिया
सूत्रों के अनुसार, राज्य निर्वाचन आयोग भी सरकार के इस फैसले से सहमत है। मीडिया खबरों के अनुसार आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि स्थानीय निकाय चुनावों में मतपत्रों के उपयोग पर कोई कानूनी पाबंदी नहीं है।
उन्होंने कहा कि पहले भी ग्राम पंचायत चुनाव मतपत्रों से कराए गए हैं। साथ ही, आयोग उन सभी ईवीएम को नष्ट कर रहा है, जिनका 15 साल का कार्यकाल पूरा हो चुका है।
अधिकारियों ने यह भी पुष्टि की कि बेंगलुरु के निकाय चुनावों में कागजी मतपत्रों का इस्तेमाल होगा। हालांकि, इस बदलाव से होने वाले अतिरिक्त खर्च के लिए सरकार को संसाधन जुटाने होंगे।