नई दिल्ली। बिहार में विधानसभा चुनाव 2025 के तारीखों का एलान हो चुका है। मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार की सोमवार को नई दिल्ली के विज्ञान भवन में हुई प्रेस कॉन्फेंस के साथ ही चुनावी आचार संहिता लागू हो गई है।
बिहार में दो चरणों में चुनाव होंगे। पहला चरण 6 नवंबर को, जिसमें 121 सीटों पर वोटिंग होगी, और दूसरा चरण 11 नवंबर को, जिसमें 122 सीटों पर वोट डाले जाएंगे। नतीजे 14 नवंबर को आएंगे।
बिहार विधानसभा चुनाव कार्यक्रम

पहला चरण
नोटिफिकेशन: 10 अक्तूबर
नामांकन की आखिरी तारीख: 17 अक्तूबर
नामांकन पत्रों की जांच: 18 अक्तूबर
नामांकन वापस लेने की आखिरी तारीख: 20 अक्तूबर
मतदान: 6 नवंबर
दूसरा चरण
नोटिफिकेशन: 13 अक्तूबर
नामांकन की आखिरी तारीख: 20 अक्तूबर
नामांकन पत्रों की जांच: 21 अक्तूबर
नामांकन वापस लेने की आखिरी तारीख: 23 अक्तूबर
मतदान: 11 नवंबर
चुनाव के लिए तैयारियां
कुल पोलिंग स्टेशन: 90,712
प्रति पोलिंग स्टेशन औसत वोटर्स: 818
शहरों में पोलिंग स्टेशन: 13,911
गांवों में पोलिंग स्टेशन: 76,801

मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने बताया कि चुनाव आयोग, एक संवैधानिक निकाय के रूप में, अपनी जिम्मेदारियों को दो हिस्सों में पूरा करता है। पहला हिस्सा है मतदाता सूची तैयार करना और दूसरा है चुनाव का आयोजन। जून 2025 से शुरू हुए विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के तहत मतदाता सूची को शुद्ध किया गया। 1 अगस्त को प्रारंभिक सूची जारी की गई, जिसे सभी राजनीतिक दलों को उपलब्ध कराया गया।
1 सितंबर तक दावे और आपत्तियां दर्ज करने का समय दिया गया, जिसमें राजनीतिक दलों, बूथ कार्यकर्ताओं और आम नागरिकों को पर्याप्त मौका मिला। इसके बाद पात्रता की जांच की गई और 30 सितंबर को अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित हुई। अगर इसमें कोई त्रुटि रह गई हो, तो नागरिक जिलाधिकारी के पास अपील कर सकते हैं। साथ ही, अगर किसी का नाम छूट गया हो, तो नामांकन से 10 दिन पहले तक उसे जोड़ा जा सकता है।
लगभग 22 साल बाद बिहार में मतदाता सूची को पूरी तरह शुद्ध करने का कार्य पूरा हुआ। सभी राजनीतिक दलों ने लंबे समय से इस सूची में खामियों की शिकायत की थी। सोशल मीडिया पर भी इस मुद्दे को लेकर काफी चर्चा हुई। हालांकि, सच्चाई यह है कि 243 विधानसभाओं में 1.6 लाख बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं के सहयोग से जमीनी स्तर पर अधिकारियों ने कड़ी मेहनत की। एक नई व्यवस्था के तहत अब मतदाता किसी भी मतदान केंद्र के बाहर अपना मोबाइल फोन जमा कर सकते हैं और वोट डालने के बाद उसे वापस ले सकते हैं।
आगामी विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए बिहार में चुनाव आयोग ने विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) कराया। इस प्रक्रिया में मतदाताओं की नई गणना की गई, जो जून से शुरू हुई थी। 30 सितंबर को अंतिम मतदाता सूची आयोग की वेबसाइट पर जारी की गई। इस सूची के अनुसार, बिहार में कुल 7,41,92,357 मतदाता दर्ज हैं। 2020 में यह संख्या 7,36,47,660 थी, यानी इस बार 5,44,697 नए मतदाता जुड़े हैं। हालांकि, एसआईआर के बाद राज्य में पंजीकृत मतदाताओं की संख्या में 47,77,487 की कमी दर्ज की गई है।
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