नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट में देशभर के शिक्षकों से जुड़ा एक बड़ा फैसला हुआ है। शिक्षक पात्रता परीक्षा यानी कि TET पास करना अब हर शिक्षक के लिए जरूरी हो गया है। टीईटी पास करने पर ही शिक्षकों की नौकरी बची रहेगी और उन्हें प्रमोशन मिलेगा।
सुप्रीम कोर्ट की डबल बेंच जस्टिस दीपांकर दत्ता और जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की बेंच ने आज यह फैसला सुनाया है। इस फैसले से साफ हो गया है कि अब शिक्षक की नौकरी पाने और शिक्षक की नौकरी में बने रहने के लिए टीईटी जरूरी हो गया है।
अपने आदेश में सुप्रीम कोर्ट ने सभी शिक्षकों को दो वर्ष का समय दिया है। दो वर्ष में सभी शिक्षकों को टीईटी पास करना होगा। जिस भी शिक्षक की नौकरी 5 साल या उससे ज्यादा बची है, उन्हें यह परीक्षा पास करनी होगी। अगर 5 साल से कम किसी शिक्षक की नौकरी बची है, तो उन्हें टीईटी की अनिवार्यता नहीं रहेगी।
सुप्रीम कोर्ट के डबल बेंच के आदेश के मुताबिक, अगर समय रहते कोई शिक्षक टीईटी पास नहीं कर पाया है तो उसे इस्तीफा देना होगा। अगर वह खुद से इस्तीफा नहीं देता है तो विभाग उन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्ति दे सकता है।