द लेंस डेस्क। भारत और इंग्लैंड के बीच होने वाली टेस्ट क्रिकेट सीरीज अब एक नए नाम के साथ मैदान पर उतरेगी। सालों से ‘पटौदी ट्रॉफी’ ( PATAUDI TROPHY )के नाम से मशहूर इस सीरीज का नाम अब बदलकर ‘तेंदुलकर-एंडरसन ट्रॉफी’ कर दिया गया है। यह फैसला क्रिकेट के दो दिग्गजों भारत के सचिन तेंदुलकर और इंग्लैंड के जेम्स एंडरसन को सम्मान देने के लिए लिया गया है। इस नई ट्रॉफी का अनावरण 11 जून को लॉर्ड्स क्रिकेट स्टेडियम में वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) फाइनल के दौरान होगा जिसमें सचिन और एंडरसन खुद मौजूद रहेंगे।
क्यों बदला गया ट्रॉफी का नाम?
2007 में भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट क्रिकेट के 75 साल पूरे होने पर इस सीरीज को ‘पटौदी ट्रॉफी’ का नाम दिया गया था। यह नाम पटौदी परिवार के सम्मान में रखा गया था जिनके दो सदस्यों – नवाब इफ्तिखार अली खान पटौदी और उनके बेटे मंसूर अली खान पटौदी ने क्रिकेट में ऐतिहासिक योगदान दिया। नवाब इफ्तिखार ने 1930-40 के दशक में भारत और इंग्लैंड दोनों के लिए खेला जबकि मंसूर अली खान, जिन्हें ‘टाइगर पटौदी’ के नाम से जाना जाता है, 1960-70 के दशक में भारत के सबसे शानदार कप्तानों में से एक थे।
हालांकि, इंग्लैंड एंड वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ECB) ने मार्च 2025 में पटौदी परिवार को सूचित किया कि वे इस ट्रॉफी को ‘रिटायर’ करना चाहते हैं। इसका मकसद नई पीढ़ी के क्रिकेट प्रशंसकों को आधुनिक युग के दिग्गजों से जोड़ना है। इसलिए अब यह सीरीज सचिन तेंदुलकर और जेम्स एंडरसन के नाम पर खेली जाएगी, जो क्रिकेट की दुनिया में अपनी-अपनी विरासत के लिए मशहूर हैं।
सचिन और एंडरसन: क्रिकेट के दो सितारे
सचिन तेंदुलकर, जिन्हें ‘मास्टर ब्लास्टर’ कहा जाता है, टेस्ट क्रिकेट में सबसे ज्यादा 15,921 रन बनाने वाले बल्लेबाज हैं। उन्होंने 1989 से 2013 तक 200 टेस्ट मैच खेले और 51 शतकों के साथ कई रिकॉर्ड अपने नाम किए। दूसरी ओर, जेम्स एंडरसन टेस्ट क्रिकेट के सबसे सफल तेज गेंदबाज हैं, जिन्होंने 704 विकेट लिए। दोनों ने 14 टेस्ट मैचों में एक-दूसरे के खिलाफ खेला जिसमें एंडरसन ने सचिन को 9 बार आउट किया, जो किसी भी गेंदबाज द्वारा सचिन के खिलाफ सबसे ज्यादा है।
नई सीरीज का रोमांच
20 जून से हेडिंग्ले, लीड्स में शुरू होने वाली पांच टेस्ट मैचों की यह सीरीज वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप 2025-27 का हिस्सा होगी। भारतीय टीम इस बार शुभमन गिल की कप्तानी में उतरेगी क्योंकि रोहित शर्मा और विराट कोहली ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले लिया है। इंग्लैंड मौजूदा पटौदी ट्रॉफी का विजेता है जिसने 2021-22 की सीरीज को 2-2 से ड्रॉ कराने के बाद ट्रॉफी अपने पास रखी थी।
विवाद और प्रतिक्रियाएँ
इस नाम परिवर्तन ने कुछ विवाद भी खड़ा किया है। पूर्व भारतीय कप्तान सुनील गावस्कर ने इसे पटौदी परिवार के योगदान के प्रति ‘असंवेदनशील’ बताया। उन्होंने कहा, “पटौदी परिवार ने भारत और इंग्लैंड दोनों के लिए क्रिकेट में बड़ा योगदान दिया। इस ट्रॉफी को हटाना निराशाजनक है।” दूसरी ओर, कई प्रशंसकों ने सोशल मीडिया पर इसे तेंदुलकर और एंडरसन के सम्मान के रूप में सराहा। एक फैन ने लिखा, “सचिन और एंडरसन जैसे दिग्गजों के नाम पर ट्रॉफी रखना क्रिकेट की नई पीढ़ी के लिए प्रेरणा है।”