रांची। जन संस्कृति मंच (जसम JSM National Conference) के 17वें राष्ट्रीय सम्मेलन का शनिवार 12 जुलाई को रांची में उद्घाटन हुआ। इस मौके पर देश भर के सामाजिक कार्यकर्ताओं, लेखकों और कलाकारों ने फासीवाद, सांप्रदायिकता और कॉरपोरेट प्रभाव के खिलाफ एकजुट होकर सांस्कृतिक आंदोलन को मजबूत करने का संकल्प लिया।
सामाजिक कार्यकर्ता नव शरण सिंह ने उद्घाटन सत्र में कहा ‘आज फासीवाद का चौतरफा हमला चल रहा है। बुद्धि और विवेक रखना भी अपराध माना जा रहा है। उमर खालिद को पांच साल से जेल में रखा गया है, लेकिन हमारी एकता और आपसी मोहब्बत फासीवादी ताकतों को परास्त करेगी।’

जसम के राष्ट्रीय अध्यक्ष रविभूषण ने कहा ‘2014 के बाद विभाजनकारी ताकतें अभूतपूर्व रूप से मजबूत हुई हैं। लोकतंत्र के सभी स्तंभ ढह चुके हैं और कोई भी संवैधानिक संस्था स्वतंत्र नहीं बची। हमें सांस्कृतिक जागरूकता के जरिए इसका मुकाबला करना होगा।’
प्रसिद्ध दस्तावेजी फिल्मकार बीजू टोप्पो ने कहा ‘झारखंड विस्थापन विरोधी आंदोलनों की भूमि रही है। जल, जंगल, जमीन और भाषा-संस्कृति को बचाने की लड़ाई हम गीत, कविता और नाटकों के जरिए लड़ रहे हैं।’
सत्र का संचालन करते हुए प्रो आशुतोष ने कहा ‘फासीवाद एक सांस्कृतिक प्रतिक्रांति है, जो आजादी की जगह भक्ति और समानता की जगह पितृसत्ता को बढ़ावा दे रही है। हमें इसे हर हाल में रोकना होगा।’ साथ ही प्रो उमा ने उमर खालिद की रिहाई के लिए एकजुटता का आह्वान किया।

दस्तावेजी फिल्मकार संजय काक ने कहा ‘डॉक्यूमेंट्री फिल्में अब जनता तक पहुंच रही हैं, लेकिन सत्ताधारी इन पर अंकुश लगा रहे हैं। यूट्यूब और सोशल मीडिया जैसे मंचों का इस्तेमाल कर हमें दक्षिणपंथी ताकतों का जवाब देना होगा।’
प्रलेस के महादेव टोप्पो ने फासीवाद को नग्न तांडव करार देते हुए कहा कि यह महिलाओं, दलितों और आदिवासियों के खिलाफ हिंसा से पनपा है। जम्मू विश्वविद्यालय के प्रो राशिद ने गाजा और ईरान पर साम्राज्यवादी हमलों की निंदा की। जलेस के एम जेड खान ने सांस्कृतिक आंदोलन की जरूरत पर जोर दिया, जबकि इप्टा के शैलेन्द्र ने कहा कि बाजार और कॉरपोरेट की सत्ता को संस्कृति से ही चुनौती दी जा सकती है।
सम्मेलन में उमर खालिद और फादर स्टेन स्वामी जैसे मामलों में निगरानी राज्य के खिलाफ आवाज बुलंद की गई। प्रो सुधीर सुमन ने शोक प्रस्ताव पढ़ा। यह दो दिवसीय सम्मेलन सांस्कृतिक और सामाजिक मुद्दों पर विचार-विमर्श के लिए मंच प्रदान करने की आशा से आयोजित किया गया ।