पहलगाम आतंकी हमला : महज छह दिन पहले विवाह बंधन में बंधे लेफ्टिनेंट विनय नरवाल को हनीमून ट्रिप के दौरान जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकियों ने गोलियों से छलनी कर दिया। विनय नरवाल ने मौके पर ही दम तोड़ा दिया। 23 अप्रैल को उनका पार्थिव शरीर श्रीनगर से विशेष विमान द्वारा नई दिल्ली लाया गया, जहां से उनके पिता और बहन शव को करनाल लेकर आए।
16 अप्रैल को विनय ने गुरुग्राम की हिमांशी के साथ मसूरी में डेस्टिनेशन वेडिंग की थी। 19 अप्रैल को रिसेप्शन हुआ और 21 अप्रैल को दोनों हनीमून के लिए रवाना हुए। प्रारंभिक योजना यूरोप यात्रा की थी, लेकिन वीजा संबंधी समस्याओं के चलते उन्होंने कश्मीर जाने का फैसला किया, यह निर्णय उनके जीवन का आखिरी पड़ाव बन गया।
पहलगाम आतंकी हमला : शहादत की खबर मिलते ही करनाल स्थित उनके घर में कोहराम मच गया। उनके दादा हवा सिंह का रो-रो कर बुरा हाल है। वीडियो कॉल पर हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी से बात करते हुए उन्होंने आतंकवादियों को कड़ी से कड़ी सजा देने और आतंक के जड़ से सफाए की मांग की। मुख्यमंत्री ने उन्हें ढांढस बंधाया और सरकार की तरफ से हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया।
पहलगाम आतंकी हमला : तीन साल पहले सेना में हुए थे शामिल
संत कबीर स्कूल, करनाल के छात्र रहे विनय ने सीडीएस परीक्षा पास की थी और तीन साल पहले एसएसबी के माध्यम से भारतीय सेना में चयनित हुए थे। छुट्टियों पर आए विनय को यह नहीं पता था कि यह उनकी जिंदगी की आखिरी छुट्टी होगी। शहीद लेफ्टिनेंट विनय नरवाल को श्रद्धांजलि देने के लिए इंडियन नेवी की एक विशेष टीम करनाल स्थित उनके घर पहुंची। उनके पराक्रम और देश के प्रति समर्पण को याद करते हुए स्थानीय लोग भी उनके अंतिम दर्शन के लिए उमड़ पड़े हैं।
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