- घरेलू मोर्चे पर फेल मोहम्मद यूनुस ने बंगलादेश को बताया हिंद महासागर का एकमात्र संरक्षक
- चार दिन की विदेश यात्रा पर चीन पहुंचे थे मोहम्मद यूनुस
- बांग्लादेश के अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस के दुस्साहस से भारत हैरान
द लेंस ब्यूरो
नई दिल्ली। बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस ने चीन की अपनी यात्रा में बांग्लादेश को हिंद महासागर का एकमात्र संरक्षक बताया है साथ ही भारत के नॉर्थ ईस्ट को लैंडलॉक्ड बताते हुए उससे सटी अपनी समुद्री सीमा में चीन को निवेश के लिए आमंत्रित किया है। पद संभालने के बाद से ही बेहद विवादों में घिरे मोहम्मद यूनुस के इस बयान की भारत में पुरजोर आलोचना हो रही है।
घरेलू मोर्चे पर असफलता से उपजी खीज
मोहम्मद यूनुस के बयान पर विदेशी मामलों के विशेषज्ञ प्रकाश के रे ने यूनुस के इस बयान का मतलब बताते हुए कहा कि दरअसल यूनुस यह कहना चाहते थे कि भारत के पूर्वोत्तर राज्यों की पहुंच समुद्र तक नहीं है और बांग्लादेश समुद्र का अकेला अभिभावक है। उन्होंने चीन को बांग्लादेश में अपना व्यापारिक ठिकाना बनाने के लिए आमंत्रित किया है ताकि वह बांग्लादेश और समुद्र के रास्ते इस क्षेत्र में और अन्यत्र अपना वर्चस्व बढ़ा सके। कहा यह जा रहा है कि यूनुस की नार्थ ईस्ट के राज्यों को लेकर की गई टिप्पणी भारत के खिलाफ चीन को खड़ा करने उसे उकसाने और अपने घरेलू मोर्चे से निजात पाने की तकनीक है।
और क्या कहते हैं यूनुस
प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार परिषद के सदस्य संजीव सान्याल द्वारा शेयर किए गए एक वीडियो में मोहम्मद यूनुस कहते हैं कि हमारे यहां चीनी अर्थव्यवस्था का विस्तार हो सकता है। वो यहां आकर चीजें बनाएं, उनका उत्पादन करें, उन्हें बेचें, चीन ले जाएं और उन्हें पूरी दुनिया में फैलाएं।
शेख हसीना के खिलाफ तख्ता पलट का मुकदमा
नहीं भुला जाना चाहिए कि शेख हसीना की 16 साल पुरानी सरकार के तख्ता पलट के बाद बनी अंतरिम सरकार लगातार सभी मोर्चों पर फेल हो रही है। बाइडेन के बाद ट्रंप ने भी किसी प्रकार की मदद से हाथ खींच लिए हैं, उद्योग धंधे चौपट हो रहे हैं, वही वर्गीय संघर्ष खत्म होने का नाम नहीं ले रहे हैं। आलम यह है कि मोहम्मद यूनुस को पदच्युत पूर्व राष्ट्रपति शेख हसीना के खिलाफ तख्ता पलट की साजिश रचने का आरोप लगाकर मुकदमा कायम कराना पड़ा है।
चार दिवसीय दौरे से लौटे यूनुस
चार दिवसीय दौरे पर चीन से वापस बांग्लादेश पहुंचे मोहम्मद यूनुस ने इस दौरे में चीन से नदियों के जल प्रबंधन के लिए 50 साल का मास्टर प्लान भी मांगा इसमें तीस्ता नदी का जल प्रबंधन भी शामिल है जिसके पानी का हिस्सेदार भारत भी है। तीस्ता नदी के पानी को लेकर भारत और बांग्लादेश में विवाद गर्माया हुआ है। यूनुस ने भारत की अनुपस्थिति में नदियों के जल प्रबंधन के लिए मास्टर प्लान की बात करते हुए चीन को “जल प्रबंधन का मास्टर” कहा। यूनुस ने आगे कहा, ‘हम यहां आपसे सीखने आए हैं।’