The Lens
  • होम
  • लेंस रिपोर्ट
  • देश
  • दुनिया
  • Podcast
  • सरोकार
  • छत्तीसगढ़
  • वीडियो
  • More
    • English
    • स्क्रीन
    • खेल
    • अन्‍य राज्‍य
    • आंकड़ा कहता है
    • टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स
    • धर्म
    • नौकरी
    • लेंस अभिमत
    • साहित्य-कला-संस्कृति
    • सेहत-लाइफस्‍टाइल
    • अर्थ
Latest News
ट्रंप और मस्क की जिगरी दोस्ती टूटी, एक दूसरे पर आरोपों की बौछार
Raipur Breaking: महादेव घाट इलाके में मनचलों ने लड़कियों से की मारपीट, एक युवती की उंगली काटी, मुंह और शरीर पर आई गंभीर चोटें
छत्तीसगढ़ में युक्तियुक्तकरण प्रक्रिया में शिक्षकों को राहत, दावा-आपत्ति को लेकर हाईकोर्ट का आदेश
बेंगलुरु भगदड़ : आरसीबीए, केएससीए और इवेंट कंपनी के खिलाफ एफआईआर
सीएम साय ने बादाम का पौधा रोपकर दिया पर्यावरण संरक्षण का संदेश
केरल सरकार ने क्‍यों किया राज्यपाल के कार्यक्रम का बहिष्कार, आरएसएस से जुड़ा है मामला
रायपुर में नगर निगम कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन, सुरक्षा की मांग को लेकर कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन
बिजली अफसर पर क्‍यों टूट पड़ी बागी पान सिंह तोमर की पोती
बेंगलुरु भगदड़ : कर्नाटक हाईकोर्ट में सरकार ने रखा अपना पक्ष, अगली सुनवाई 10 जून को
50 लाख का नक्‍सली नेता नरसिंहा चलम उर्फ सुधाकर मुठभेड़ में ढेर
Font ResizerAa
The LensThe Lens
  • देश
  • दुनिया
  • लेंस रिपोर्ट
  • Podcast
  • सरोकार
  • छत्तीसगढ़
  • वीडियो
Search
  • होम
  • लेंस रिपोर्ट
  • देश
  • दुनिया
  • Podcast
  • सरोकार
  • छत्तीसगढ़
  • वीडियो
  • More
    • English
    • स्क्रीन
    • खेल
    • अन्‍य राज्‍य
    • आंकड़ा कहता है
    • टेक्नोलॉजी-ऑटोमोबाइल्‍स
    • धर्म
    • नौकरी
    • लेंस अभिमत
    • साहित्य-कला-संस्कृति
    • सेहत-लाइफस्‍टाइल
    • अर्थ
Follow US
© 2025 Foxiz News Network. Ruby Design Company. All Rights Reserved.
The Lens > देश > डीएमके सांसदों की टी-शर्ट से स्‍पीकर क्‍यों हैं खफा, जानिए क्‍या हैं नियम
देश

डीएमके सांसदों की टी-शर्ट से स्‍पीकर क्‍यों हैं खफा, जानिए क्‍या हैं नियम

Arun Pandey
Last updated: March 21, 2025 8:15 pm
Arun Pandey
Share
SHARE

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने 20 मार्च को डीएमके सदस्यों के स्लोगन लिखी टी-शर्ट पहनकर आने पर नियम 349 का हवाला देकर एतराज किया और इसे लोकसभा के भीतर आचरण के विरुद्ध बताया। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने 20 मार्च को डीएमके सदस्यों के स्लोगन लिखी टी-शर्ट पहनकर आने पर नियम 349 का हवाला देकर एतराज किया और इसे लोकसभा के भीतर आचरण के विरुद्ध बताया। लोकसभा अध्यक्ष ने सदस्यों को टी-शर्ट उतारकर आने को कहा। सदन में कार्यवाही के दौरान परिधान क्या हो, इसको लेकर एक बार फिर से बहस शुरू हो गई है।

हालांकि, सदन के भीतर सदस्यों के पहनावे को लेकर कोई तय नियम नहीं हैं। अगर किसी सांसद की पोशाक असभ्य या अनुचित लगती है, तो सभापति (लोकसभा अध्यक्ष या राज्यसभा के सभापति) उसे टोक सकते हैं। सदस्यों के लिए नियमावली के 17वें संस्करण में भी किसी भी पहनावे को प्रतिबंधित नहीं किया गया है। संसद में पहनावा व्यक्तिगत चयन पर निर्भर करता है, लेकिन यह मर्यादा, परंपरा और गरिमा के अनुरूप होना चाहिए।

क्‍या है ताजा विवाद

डीएमके सांसदों ने जो टी-शर्ट पहनी थी, उस पर लिखा था, “निष्पक्ष परिसीमन, तमिलनाडु लड़ेगा, तमिलनाडु जीतेगा।” लोकसभा और राज्यसभा दोनों सदनों में विरोध प्रदर्शन के बाद कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई। स्पीकर ओम बिरला और चेयरमैन जगदीप धनखड़ ने इस पोशाक पर आपत्ति जताते हुए इसे संसदीय मर्यादा का उल्लंघन बताया।

जब सदन चल रहा हो, तो इन नियमों का पालन जरूरी?

  • कोई भी सदस्य सदन में मेज पर अपनी टोपी/कैप नहीं रख सकता। धूम्रपान तो पूरी तरह वर्जित है ही, साथ ही कोट को एक कंधे पर लटकाकर सदन में प्रवेश करने पर भी मनाही है।
  • सदन में किसी भी प्रकार का बैज लगाकर आने की अनुमति नहीं होती, सिवाय राष्ट्रीय ध्वज के।
  • जब सदन चल रहा हो, तो ऐसी किसी भी पुस्तक, समाचार पत्र या पत्र को नहीं पढ़ा जा सकता, जिसका सदन की कार्यवाही से कोई संबंध न हो।
  • कोई भी सदस्य उस वक्त अध्यक्ष और वक्ता के बीच से नहीं गुजर सकता, जब वक्ता कुछ बोल रहा हो। हालांकि, इस नियम का अक्सर पालन नहीं होता है।
  • जब अध्यक्ष सभा को संबोधित कर रहे हों, तब किसी भी सांसद को बाहर जाने की अनुमति नहीं होती।
  • सदन की कार्यवाही के दौरान सीटी बजाने, टोका-टाकी करने और किसी अन्य सदस्य के बोलते समय टिप्पणी करने की मनाही होती है।
  • अध्यक्ष की ओर पीठ करके न बैठ सकते हैं और न ही खड़े हो सकते हैं।
  • संबोधन के तुरंत बाद सदस्यों को सदन छोड़ने की अनुमति नहीं होती है।
  • संसद भवन परिसर में ऐसे किसी भी प्रकार के साहित्य, प्रश्नावली, पुस्तिका, प्रेस नोट, पर्चे आदि बांटने पर रोक है, जिसका सभा की कार्यवाही से कोई संबंध न हो।

वेशभूषा को लेकर चर्चा में रहे हैं ये सांसद

येसा नहीं है कि संसद में पहनावे को लेकर चर्चा अभी हो रही है। भारतीय संसद का इतिहास भी पहनावे के मामले में विविधता भरा रहा है। आइए जानते हैं कि सांसद कैसी-कैसी वेशभूषा में संसद भवन में आ चुके हैं।  

पवन दीवान तो सिर्फ धोती पहनकर जाते थे संसद

छत्तीसगढ़ से 1991 में लोकसभा पहुंचे संत कवि पवन दीवान केवल धोती पहनते थे और कमर से ऊपर कुछ नहीं पहनते थे। वह इसी परिधान में संसद जाते थे। यही नहीं, वह 1977 से कई बार विधायक और मंत्री भी रहे और उन्हें हमेशा इसी परिधान में देखा गया। अधनंगे फकीर की तरह आते थे। यह साधारण परिधान उनके व्यक्तित्व का अभिन्न अंग था, जो राजनीति में रहते हुए भी उनकी संतई और वैराग्य की भावना को उजागर करता था।

योगी आदित्यनाथ का भगवा प्रेम

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 1998 से 2017 के बीच लगातार पांच बार गोरखपुर से सांसद चुने गए। वह हमेशा भगवा रंग का कुर्ता और तहबन (लुंगी) पहनते हैं। फिलहाल, वह उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री हैं और विधानसभा सहित हर सार्वजनिक मौके पर इसी पोशाक में नजर आते हैं। योगी के सांसद रहने के दौरान कभी भी सदन में उनके पहनावे पर एतराज नहीं किया गया। हालांकि, विपक्षी नेताओं द्वारा समय-समय पर टिप्पणियां जरूर की गई हैं। समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव ने बिना नाम लिए कहा था कि “भगवा पहनने से कोई योगी नहीं हो जाता।” इसी तरह, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे भी अप्रत्यक्ष रूप से निशाना साधते हुए कह चुके हैं कि “जो गेरुआ पहनते हैं, उन्हें राजनीति में नहीं आना चाहिए।”

भगवा साड़ी में उमा भारती

पूर्व केंद्रीय मंत्री और मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती 1989 से अब तक छह बार लोकसभा के लिए चुनी गईं। सदन की हर कार्यवाही के दौरान वह भगवा रंग की साड़ी में ही नजर आती हैं, लेकिन उनके परिधान को लेकर कभी कोई एतराज नहीं किया गया।

समाजवादी नेता लोकबंधु राज नारायण के सिर पर साफा

दिग्गज समाजवादी नेता लोकबंधु राज नारायण संसद के भीतर अपने मसखरेपन को लेकर हमेशा चर्चा में रहते थे। वह साफा बांधते थे। 1952 से लेकर 1989 तक वह पांच बार संसद पहुंचे—दो बार राज्यसभा सदस्य के रूप में और तीन बार लोकसभा का चुनाव जीतकर। वह हमेशा सिर पर लाल साफा बांधे रहते थे, चाहे संसद के अंदर हों या किसी जनसभा में।

दक्षिण भारतीय सांसदों का पहनावा

दक्षिण भारतीय नेता, विशेष रूप से तमिलनाडु, केरल और आंध्र प्रदेश से आने वाले संसद सदस्य वेष्टि (मुंडू/धोती) पहनकर संसद की कार्यवाही में हिस्सा लेते हैं। कभी उनके पहनावे को लेकर कोई आपत्ति दर्ज नहीं की गई। वहीं, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे सदन और सार्वजनिक मंचों पर हमेशा भारतीय परिधान धोती-कुर्ते में नजर आते हैं।

जब गांधी जी धोती- शॉल में पहुंचे गोलमेज सम्मेलन

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी धोती-शॉल पहनकर ही 1931 में गोलमेज सम्मेलन में शामिल हुए थे, जो लंदन में आयोजित हुआ था। उन्होंने वहां ब्रिटिश अधिकारियों, नेताओं और जनता को संबोधित किया। उनके इस पहनावे को लेकर ब्रिटिश समाज में चर्चा हुई, क्योंकि अधिकतर ब्रिटिश नेता औपचारिक सूट पहनते थे। एक और दिलचस्प घटना यह रही कि जब जॉर्ज पंचम की पत्नी क्वीन मैरी और अन्य ब्रिटिश राजघराने के सदस्यों से मुलाकात करने गांधी जी धोती और शॉल में ही चले गए। जब उनसे पूछा गया कि क्या यह राजसी दरबार के लिए उपयुक्त पोशाक है, तो गांधी जी ने मजाक में कहा, “महाराज ने तो अपने पहनावे में मेरी चिंता कर ली है, अब मैं उनकी चिंता क्यों करूं?”

जेलेंस्की की टी-शर्ट पर उठ चुका है सवाल

परिधान को लेकर अभी ताजा मामला यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की की टी-शर्ट से जुड़ा है। अमेरिका के व्हाइट हाउस में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान जेलेंस्की ने अपनी पारंपरिक सैन्य-शैली की टी-शर्ट पहनी थी। इस पर एक अमेरिकी पत्रकार ने उनसे पूछा, “आप सूट क्यों नहीं पहनते? क्या आपके पास सूट है?” जेलेंस्की ने जवाब देते हुए कहा था, “जब यह युद्ध खत्म होगा, तब मैं सूट पहनूंगा, शायद आपकी तरह का या शायद उससे भी बेहतर, मुझे नहीं पता। हम देखेंगे, शायद कुछ सस्ता।”

TAGGED:DMKOm BirlaPolitical
Share This Article
Email Copy Link Print
Previous Article विश्व कविता दिवस पर प्रतिरोध की कुछ कविताएं…
Next Article हर पार्टी का नेता हनी ट्रैप में फंसा, कर्नाटक सरकार में मंत्री केएन राजन्ना का दावा

Your Trusted Source for Accurate and Timely Updates!

Our commitment to accuracy, impartiality, and delivering breaking news as it happens has earned us the trust of a vast audience. Stay ahead with real-time updates on the latest events, trends.
FacebookLike
XFollow
InstagramFollow
LinkedInFollow
MediumFollow
QuoraFollow

Popular Posts

Too Late!

The sudden resignation of Manipur chief minister Biren Singh has come rather unexpectedly. The state…

By The Lens Desk

महिला पत्रकारों को गाली बकने वाले अभिजीत अय्यर मित्रा को पांच घंटे में पोस्ट हटाने की चेतावनी

नेशनल ब्यूरो। नई दिल्ली दिल्ली उच्च न्यायालय ने स्वतंत्र टिप्पणीकार अभिजीत अय्यर मित्रा को सोशल…

By Lens News Network

दुनिया के चश्‍मे से कैसा दिख रहा है भारत-पाकिस्तान तनाव

द लेंस डेस्‍क। जम्‍मू- कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले और…

By Arun Pandey

You Might Also Like

देश

डॉक्टर,इंजीनियर,रिटायर्ड IAS अधिकारी ने भी ले ली किसान सम्मान राशि !

By Poonam Ritu Sen
Justice BR Gavai
देश

जस्टिस बीआर गवई ने क्‍यों कहा रिटायरमेंट के बाद राजनीति नहीं…

By The Lens Desk
Pegasus spyware case
देश

Pegasus spyware case: सुप्रीम कोर्ट ने कहा, राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए स्पाइवेयर का उपयोग गलत नहीं

By Lens News Network
देश

प्रदूषण से 5 साल घट रही औसत उम्र, दुनिया के 20 सबसे प्रदूषित शहरों में 13 भारत के

By The Lens Desk

© 2025 Rushvi Media LLP. 

Facebook X-twitter Youtube Instagram
  • The Lens.in के बारे में
  • The Lens.in से संपर्क करें
  • Support Us
Lens White Logo
Welcome Back!

Sign in to your account

Username or Email Address
Password

Lost your password?